उजाळा का मनखा की जस्यान जीओ
5
1 लाड़ला बाळका की जस्यान परमेसर की नकल करो। 2 जस्यान मसी आपसुं परेम कर्यो छ अर आपण्अ ताणी खुदन्अ सुवावणी बली का रूप मं परमेसर क सामन्अ चढ़ा दियो, बियान् थे बी परेम सुं जीवो। 3 थाम्अ रण्डीबाजी, लुचपण या फेर लालच की बतळ्यावण बी कोन्अ होणी चायजे। अस्यान की बाता परमेसर का पवितर मनखा क ताणी चोखी कोन्अ। 4 लाज अर फोकटी बाता, गन्दा चुटकला की बतळ्यावण थाम्अ कोन्अ होणी चायजे। अस्यान की बाता चोखी कोन्अ। पण बीकी बजाय परमेसर न्अ धन्यवाद देणी चायजे। 5 क्युं क थान्अ या जरूर जाणणी चायजे क रण्डीबाज, लुच्चो अर लालची मनख ज्यो एक मूर्ति पुजबाळा जस्यान को छ, बीक्अ ताणी मसी अर परमेसर का राज मं कोई पांती कोन्अ 6 देखो, थान्अ फोकटी बाता सुं कोई छळ कोन्अ लेव्अ। क्युं क या बाता की बजे सुंई परमेसर को रोष बीको खियो उंगालबाळा माळ्अ आबाळो छ। 7 ई बजेसुं बांका कामा मं भेळ्अ मत होऔ। 8 एक बगत थे अन्धेरा छा पण अब परबु का गठजोड़ सुं उजाळा छो। जिसुं उजाळा का मनखा की जस्यान जीओ। 9 उजाळा सुं सबळा चोखा काम अर सांच होव्अ छ अर बांकी लारअ परमेसर क साम्अ ठीक-ठीक करबो होव्अ छ। 10 थे ईन्अ परखो क परबु न्अ कांई चोखो लाग्अ छ। 11 अन्धेरा का बां फालतु कामा मं भेळ्अ मत होओ पण बिन्अ चोड़्अ करो। 12 क्युं क अस्यान का काम ज्यांन्अ ब छान्अ सुं करअ छ, बांकी बतळ्यावण बी लाज की बात छ। 13 उजाळा सुं सबळा काम परगट होर चोड़ा मं आजाव्अ छ। 14 उजाळो ई छ ज्यो सबळी चीजान्अ चोड़्अ करअ छ। जिसुं अस्यान खेव्अ छ,
“अरअ, ओ सोबाळा, जाग!
मरया मंसुं जीवतो होजा,
तो मसी को उजाळो थारअ माळ्अ चमक्अलो।”
15 चेतो लगाओ क थे कस्यान जीर्या छो। मुरखा की जस्यान कोन्अ पण समझदार की जस्यान जीओ। 16 aहरेक मोका न्अ नीका काम मं लेओ। क्युं क ये दन बरा छ। 17 जिसुं मुरख मत बणो पण या समझो क परबु की मन्सा कांई छ। 18 दारूड़या मत बणो क्युं क इसुं बावळापणा का काम होव्अ छ। ईक्अ बजाय आत्मा सुं भरजावो। 19 bअर थे भजन, परमेसर की गाथा, अर आत्मिक गीत गार एक-दूसरा की हिम्मत बड़ाओ अर परबु क ताणी अपणा मन सुं भजन-भाव अर गुणगान करता रेवो। 20 हरेक बात क ताणी आपणा परबु ईसु मसी का नांऊ मं परम-पिता परमेसर को सदा धन्यवाद करता रेवो।
लोग-लुगाई
21 थे मसी को आदर-भाव करो छो ई बजेसुं एक-दूसरा को खियो मानो।
22 cओ लुगायाओ! जस्यान थे परबु को खियो मानो छो बियान् खुदका धणी को खियो मानो। 23 जस्यान मसी को बस्वास्या की टोळी माळ्अ अधिकार छ, वस्यानई लुगाई माळ्अ बीका धणी को अधिकार छ। अर मसी खुद'ई बस्वास्या की टोळी न्अ बचाबाळो छ। 24 जस्यान बस्वास्या की टोळी मसी का खिया मं छ वस्यानई हरेक लुगाई न्अ सबळी बाता मं खुदका धणी का खिया मं रेणो चायजे। 25-26 dओ मोट्‍यारओ, खुदकी लुगाई सुं अस्यान परेम रांखो जस्यान मसी बस्वास्या की टोळी सुं परेम रांख'र बिन्अ पाणी सुं अर बचन सुं धोर पवितर बणाबा ताणी खुदन्अ बली कर दियो। 27 जिसुं मसी बां बस्वास्या की टोळी न्अ असी भळको मारबाळी बणार खुदक्अ ताणी त्यार करअ जिम्अ कोई सळ अर कळंक न्अ होवे, अर न्अ असी ओर कोई कमी होवे पण पवितर अर नरदोष होवे। 28 आदमी न्अ खुदकी लुगाई सुं अस्यान'ई परेम करणी चायजे जस्यान ब खुदसुं परेम करअ छ। ज्यो खुदकी लुगाई सुं परेम करअ छ, वो खुदसुं परेम करअ छ। 29 कोई खुदकी काया सुं कद्‍या बी बेर कोन्अ करअ, पण जस्यान मसी खुदका बस्वास्या की टोळी न्अ पाळ्अ पोष्अ छ, बियान् ब खुदकी काया न्अ पाळ्अ पोष्अ छ। 30 क्युं क आपा तो मसी की काया का अंग छा। 31 पवितर सास्तर खेव्अ छ “जिसुं एक आदमी खुदका माई-बाप न्अ छोड़र खुदकी लुगाई सुं मलर रेवेलो अर ब दोनी एक तन हो जावला।” 32 यो भेद तो घणो जोरको छ पण म या मसी अर बीका बस्वास्या की टोळी का बारा मं खेर्यो छु। 33 पण थाम्अ सुं हरेक न्अ खुदकी लुगाई सुं वस्यानई परेम करणी चायजे जस्यान थे खुदसुं करो छो। अर एक लुगाई न्अ बी खुदका धणी को खियो मानणो चायजे।