प्रेम में बणया रेओ
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1 प्यारै टाबरा गी तरियां परमेसर गो अनुकरण करो।
2 अर प्रेम ऊं चालो, जिंया मसी थारूं प्रेम करयो हो अर आपणै खातर अपणै आपनै सुखदायक सुरम खातर परमेसर गै आ'गे भेंट कर'गे बलिदान कर दियो।
3 जिंया पवितर लोगा गै लायक है बिंया ई थे बी बेबीचार अर ओर कीं तरियां गा माड़ा काम अर लालच गी बात बी थारै कनै ना होवै।
4 अर ना'ई सरम आळी बात अर ना'ई मूरखता गी बात होवै अर ना'ई मजाक करण आळी क्यूंकै ऐ बाता सोभ्या कोनी देवै पण सारा ऊं धन्यवाद ई सुणीजै।
5 क्यूंकै थे जरूर जाणो हो कै कोई बेबीचारी, अपवितर अर लोबी आदमी झिको मूरतिपूजा गै बराबर है बो मसी अर परमेसर गै राज में वारिस कोनी।
चानणै गी उळाद बणो
6 थानै कोई व्यर्थ बाता ऊं धोखो ना दय क्यूंकै आ बाता ऊं परमेसर गो क्रोध आग्या ना मानण आळा पर भडकै।
7-8 ईंखातर थे बा सागै भेळा ना रेवो। क्यूंकै पेला थे अंधकार में हा पण अब परमेसर गी जोती में हो। ईंखातर जोती गी संतान बणो। अर बि तरियां चालो।
9 क्यूंकै जोती गो फळ सारी तरियां गी भलाई अर धारमिकता अर साच है।
10 अर ओ परखो कै प्रभु नै के भावै है।
11 अंधकार गा माड़ा गुण कामा में भेळा ना होवो पण बानै धमकाओ।
12 क्यूंकै बांगै लुकेड़ै कामा गी चरचा बी सरम गी बात है।
13 पण जिताई बुरा काम छोड़िजै बे सारा जोती गै कारण ई होवै। क्यूंकै झिको सारो कीं परगट करै बा जोती है।
14 ईं कारण पवितर सासतर में इंया केवै, हे सोण आळा लोगो, जाग ज्यो अर मरेड़ा मूं जी उठो। जद मसी गी जोती थारै पर चमकेगी।
15 ईंखातर ध्यान ऊं देखो के थारो चाल चलन किंया है। मूरखा गी तरियां ना पण बुद्धिमान गी तरियां चालो।
16 टेम नै किमती समझो क्यूंकै दिन भोत बुरा है।
17 ईंखातर मूरख ना बणो, पण ध्यान ऊं समझो कै प्रभु गी इच्छा के है?
18 दारू पीगे मतवाला ना बणो क्यूंकै इऊं बुरी इच्छा पैदा होवै। पण पवितर आत्मा में परिपूर्ण होवंता जाओ।
19 अर आपस में रळमिल भजन अर स्तुति गीत अर आत्मिक गीत गाये करो। अर आप आपगै मन में प्रभु गै सामे भजन करता रेवो।
20 अर हमेसा सारी बाता खातर आपणै प्रभु यीसू मसी गै नाम ऊं पिता परमेसर गो धन्यवाद करता रेवो।
21 अर मसी ऊं डरता होगे एक दूसरै गै अधीन में रेवो।
पती अर पत्नी नै संदेस
22 हे लुगाईयों, थे आपगै पतिया गै इंया अधीन रेओ जिंया प्रभु गै हो।
23 क्यूंकै पती, पत्नी गो सिर होवै जिंया मसी बिस्वासी मण्डली गो सिर है। अर बो आप ई बिस्वासी मण्डली झिकी बिंगी देह है बिंगो मुकतीदाता है।
24 पण जिंया बिस्वासी मण्डली, मसी गै अधीन है बिंया ई लुगाईयां बी हरेक बात में आपगै पती गै अधीन में रेवो।
25 हे पतियो, आप आपगी पत्निया ऊं प्रेम राखो जिंया मसी बिस्वासी मण्डली ऊं प्रेम कर'गे अपणै आपनै बि खातर बलिदान करयो है।
26 कै बिंगै बचना गै द्वारा जळ में स्नान ऊं सुद्ध कर'गे पवितर बणावै।
27 अर बिनै एक हिसी पवितर बिस्वासी मण्डली बणागे आपगै कनै खड़ी करै झिकी में कोई दाग ना होवै पण निरदोस अर पवितर होवै।
28 ईं तरियां ओ ई सई है कै पती आपगी पत्नी ऊं बिंया ई प्रेम राखै जिंया बो आपगै सरीर सागै राखै है अर झिको आपगी पत्नी ऊं प्रेम राखै बो अपणै आप ऊं राखै।
29 क्यूंकै कोई आदमी आपगै सरीर ऊं बैर कोनी राखै पण बिंगी देखभाल राखी हो जिंया मसी बिस्वासी मण्डली गै सागै करै।
30 ईंखातर आपां बिंगी देह गा अंग हा जिंया पवितर सासतर में लिखेड़ो है कै,
31 “ईंखातर आदमी आपगै मां बाप नै छोड आपगी पत्नी सागै मिल्यो रेवेगो। अर बे दोनूं एक तन होवैगा।”a
32 ओ भेद तो मोटो है पण मैं अठै मसी अर बिस्वासी मण्डली गै बारे में केऊं।
33 पण थे हरेक जणो आपगी लुगाई नै खुद गी तरियां प्रेम राखो। अर लुगाई बी आपगै पती गो मान समान करो।