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गलील का काना नगर माय ब्याव
1 तीसरा दन गलील का काना नगर माय एक ब्‍याव थो, अने ईसु की मेतारी बी वां थी। 2 ईसु अने उका चेलाहुंण बी उना ब्‍याव माय नोत्या ग्या था। 3 जदे दाखरस घटी ग्यो तो ईसु की मेतारी ने उकासे क्यो, "उणका कने दाखरस हयनी।"
4 तो ईसु बोल्यो, "हे नारी तम म्हार से कायसरु कई र्‌या हो? म्हारो बखत अबी नी आयो।"
5 उकी मेतारी ने सेवकहुंण से क्यो, "जो कंई उ तमार से के उज करजो।"
6 वां यहूदिहुंण के सुद्द करवा की रीति मुजब तरास्‍या भाटा का छेः भोमळ्या धर्‌या था, एक-एक माय बीस से तीस मणa समातो थो। 7 ईसु ने उणकासे क्यो, "भोमळ्याहुंण के पाणी से उबराता भरी लाखो उणने उणके उबराता भरी लाख्या। 8 ईसु ने उणकासे क्यो, "अबे थोड़ोक हेड़ी के रसोइया का परधान कने लई जाव।" अने वी लई ग्या। 9 जदे रसोइया का परधान ने उना पाणी के चाख्यो जो दाखरस बणी ग्यो थो उ नी जाणतो थो के यो कसे आयो पण जेना सेवक चाकरहुंण ने पाणी हेड़्यो थो वी जाणता था। तो रसोइया का परधान ने लाड़ा के तेड़्यो। 10 अने उकासे बोल्यो "हर मनख पेलां अच्छो दाखरस दे अने जदे मनखहुंण पीके छाकी जाय तो घट्‍यो पिवाड़े पण तने तो अच्छो दाखरस अबी तक बचई राख्यो।"
11 असतरा गलील का काना माय ईसु ने अपणो पेलो अदभुद चमत्कार के सुरु करिके अपणी म्हेमा परगटी, अने उका चेलाहुंण ने उका पे बिसास कर्‌यो।
12 b इका बाद ईसु, उकी मेतारी, उका भई-बेनहुंण अने चेलाहुंण कफरनहूम सेर-गांम ग्या अने वां थोड़ाक दन र्‌या।
मन्‍दर के सुद्द करनों
(मत्ती २१.१२-१३; मरकुस ११.१५-१७; लूका १९.४५-४६)
13 d यहूदिहुंण को फसहc को तेवार कने थो अने ईसु यरुसलेम नगर ग्यो। 14 अने मन्‍दर माय उने बेल, गाडर अने कबुतर बेचवा वाळाहुंण के अने दलालहुंण के बेठ्या देख्या। 15 अने रासहुंण को एक कोड़ो बणायो अने उना सगळा के गाडरहुंण अने बेलहुंण का गेले मन्‍दर से बायरे हेड़ी लाख्या। अने दलालहुंण का सिक्‍काहुंण के बखेरी लाख्या अने तखतहुंण के उलटी लाख्या। 16 अने कबुतर बेचवा वाळा से बोल्यो, "इणके यां से बायरे लई जाव। म्हारा पिता परमेसर का घर के बेपार को घर मती बणाव।" 17 e झट उका चेलाहुंण के रियाद आयो के लिख्यो हे, "थारा घर को लगाव म्हारे खई जायगा।"
18 इकासरु यहूदिहुंण ने ईसु के जुवाब द्‍यो, "तू जो करे तो हमारे कां की सेलाणी बताड़े हे? अने यो केका हक से करे?
19 f ईसु ने जुवाब देतो होयो उणकासे क्यो, "इना मन्‍दर के ढळ्‍डई लाखो अने हूं इके तीन दन माय पाछो उबो करी दूंवां।"
20 इका पे यहूदिहुंण ने क्यो, "इना मन्‍दर के बणावा माय छयाळीस बरस लाग्या हे। कंई तू इके तीन दन माय उबो करी लाखेगा?"
21 पण उ तो अपणी काया का मन्‍दर का बारामें कई र्‌यो थो। 22 इकासरु जदे उ मर्‌या माय से जी उठ्यो तो उका चेलाहुंण के रियाद अई के उने क्यो थो, अने उणने पवित्तर सासत्तर का अने उना बचन के जो ईसु ने क्यो थो बिसास कर्‌यो।
ईसु मनख का सुभाव के जाणे
23 जदे उ फसह का तेवार का बखत यरुसलेम नगर माय थो तो घणा लोगहुंण ने उनी सेलाणी के जिणके उ दिखाड़तो थो देखी के उका पे बिसास कर्‌यो। 24 पण जां तक ईसु को नातो थो उने अपणा खुद के उणका भरोसे नी छोड़्यो, क्योंके उ सगळा के जाणतो थो। 25 तो उके इनी बात की जरुवत नी थी के कईं को मनख कइंका मनख का बारामें गवई दे। क्योंके उ खुद जाणतो थो के मनख का हिरदा माय कंई हे।